पूर्ण पुनरुक्त शब्द - जहाँ शब्द युग्म में पहली इकाई दूसरी इकाई के रूप में प्रयुक्त पुनरुक्त होती है।
यथा– धीरे-धीरे, सुनो सुनो।
अपूर्ण पुनरुक्त शब्द - जहाँ शब्द युग्म में दूसरी इकाई पहली इकाई से बनाकर रूप धारण कर प्रयुक्त होती है।
यथा– भीड़-भाड़, भोला-भाला।
प्रतिध्वन्यात्मक शब्द - इसमें दूसरा शब्द पहले शब्द की प्रतिध्वनि होता है।
यथा– चाय-वाय, रोटी-मोटी
भिन्नार्थक शब्द - इस प्रकार के शब्द युग्म में प्रत्येक शब्द भिन्न-भिन्न अर्थ रखने वाला होता है। यथा– भला-बुरा, एक-दो, पढ़ाई-लिखाई।
हिन्दी व्याकरण के इन 👇 प्रकरणों को भी पढ़िए।।
1. शब्द क्या है- तत्सम एवं तद्भव शब्द
2. देशज, विदेशी एवं संकर शब्द
3. रूढ़, योगरूढ़ एवं यौगिकशब्द
4. लाक्षणिक एवं व्यंग्यार्थक शब्द
5. एकार्थक शब्द किसे कहते हैं ? इनकी सूची
6. अनेकार्थी शब्द क्या होते हैं उनकी सूची
7. अनेक शब्दों के लिए एक शब्द (समग्र शब्द) क्या है उदाहरण
8. पर्यायवाची शब्द सूक्ष्म अन्तर एवं सूची
9. शब्द– तत्सम, तद्भव, देशज, विदेशी, रुढ़, यौगिक, योगरूढ़, अनेकार्थी, शब्द समूह के लिए एक शब्द
नीचे दिए गए अनुच्छेद में उपरोक्त प्रकारों के शब्द रेखांकित किए गए हैं।
एक बार मोहन इन्दौर गया। वहाँ वह सड़क पर धीरे-धीरे चल रहा था, तभी उसे पीछे से सुनो-सुनो परिचित आवाज सुनाई दी। जब उसने मुड़कर देखा तो उसे भोला-भाला सतीश पास आता दिखाई दिया। इस
भीड़-भाड़ वाले शहर में अचानक बहुत दिन का बिछुड़ा मित्र मिल जाने पर वह बहुत प्रसन्न हुआ। भाग-दौड भरे वातावरण से वह दोनों एक चाय की दुकान पर गए। वहाँ उन्होंने चाय-वाय लो तथा बीते दिनों की गप-शप करते हुए शहर में घूमने निकल पड़े।
उक्त अनुच्छेद में रेखांकित शब्द–
(i) धीरे-धीरे, सुनो-सुनो पूर्ण पुनरुक्त शब्द हैं।
(ii) भीड़-भाड़ भोला-भाला, भाग-दौड़, गप-शप, अपूर्ण पुनरुक्त शब्द हैं।
(iii) चाय-वाय प्रतिध्वन्यात्मक शब्द हैं।
हिन्दी व्याकरण के इन 👇 प्रकरणों को भी पढ़िए।।
1. 'ज' का अर्थ, द्विज का अर्थ
2. भिज्ञ और अभिज्ञ में अन्तर
3. किन्तु और परन्तु में अन्तर
4. आरंभ और प्रारंभ में अन्तर
5. सन्सार, सन्मेलन जैसे शब्द शुद्ध नहीं हैं क्यों
6. उपमेय, उपमान, साधारण धर्म, वाचक शब्द क्या है.
7. 'र' के विभिन्न रूप- रकार, ऋकार, रेफ
8. सर्वनाम और उसके प्रकार
टीप– हिन्दी भाषा में साहित्यिक और व्यावहारिक दृष्टि से कुछ शब्दों का जोड़ी के रूप में प्रयोग होता है। ये जोड़े सामान्यतः निरर्थक शब्दों के भी होते हैं, और विपरीत अर्थ वाले भी। कभी सार्थक-निरर्थक का साथ-साथ प्रयोग होता तो कभी अपूर्ण पुनरुक्ति शब्द प्रयुक्त होते हैं। इन शब्दों के प्रयोग से कथन में प्रखरता और विचारों में स्पष्टता आ जाती है। भाषा प्रभावी बन जाती है।
निम्नलिखित शब्द युग्मों से पूर्ण पुनरुक्त, अपूर्ण पुनरुक्त, प्रतिध्वन्यात्मक और भिन्नार्थक शब्द के उदाहरण हैं।
(1) पूर्ण पुनरुक्त – समझाते-समझाते, चम-चम, रुक-रुक, खेल-खेल।
(2) अपूर्ण पुनरुक्त – भोली-भाली, रंग-बिरंगे, सखी-सहेलियाँ, हँसती-हँसाती।
(3) प्रतिध्वन्यात्मक – बादल-वादल, गाय-वाय, बाजार-वाजार, बस-वस, पढ़ाई-वढ़ाई।
(4) भिन्नार्थक शब्द – सुख-सुहाग, माँ-बहन, सात-आठ, हँस-खेलकर, भाई-बहन, इधर-उधर
हिन्दी व्याकरण के इन 👇 प्रकरणों को भी पढ़िए।।
1. व्याकरण क्या है
2. वर्ण क्या हैं वर्णोंकी संख्या
3. वर्ण और अक्षर में अन्तर
4. स्वर के प्रकार
5. व्यंजनों के प्रकार-अयोगवाह एवं द्विगुण व्यंजन
6. व्यंजनों का वर्गीकरण
7. अंग्रेजी वर्णमाला की सूक्ष्म जानकारी
आशा है, उपरोक्त जानकारी परीक्षार्थियों / विद्यार्थियों के लिए ज्ञानवर्धक एवं परीक्षापयोगी होगी।
धन्यवाद।
R F Temre
rfcompetition.com
आशा है, उपरोक्त जानकारी उपयोगी एवं महत्वपूर्ण होगी।
(I hope the above information will be useful and important. )
Thank you.
R. F. Tembhre
(Teacher)
infosrf.com
Recent Posts
Categories
Subcribe
© All rights reserved. Infosrf.com.